ItihaasakGurudwaras.com A Journey To Historical Gurudwara Sahibs

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गुरुदवारा श्री किल्ला साहिब उधम सिंह नगर जिले के गांव भिडौरा में स्थित है। जब सिद्धों ने बाबा अलमस्त जी को नानकमता साहिब में परेशान किया, तो उन्होंने यहाँ आकर श्री गुरु हरगोबिंद साहिब जी से मदद की प्रार्थना की। बाबा जी ने यहाँ ध्यान करना शुरू किया और गुरू साहिब की प्रतीक्षा करने लगे। दूसरी तरफ गुरू साहिब ने पंजाब से अपनी यात्रा चीका कुरुक्षेत्र आदि के रास्ते से होते हुये यहां पहुंचे और बाबा अलमस्त जी से मिले। बाबा जी ने गुरू साहिब को पूरी कहानी सुनाई। गुरू साहिब ने अपने घोड़े को सूखी किल्ला के साथ बाँध दिया जो अब पेड़ के रूप में विकसित हो गया है। इसके साथ ही पाँच किल्ले भी हैं, जिनके साथ गुरु साहिब के साथ आये सिंखों, ने अपने घोड़े बांधे हैं, वो भी पेड़ के रूप में विकसित हो गये हैं। जिस पेड़ के साथ एक कपड़ा लिपटा होता है वह है जिसके साथ गुरु साहिब ने अपने घोड़े को बांधा था । बाबा अलमस्त जी के साथ, गुरू साहिब गुरुदवारा श्री नानकमता साहिब गए और सिधों को वहां से भगाया । इसके अलावा श्री गुरु हरगोबिंद साहिब जी ने पीपल के पेड़ पर थोड़ा पानी छिड़का और इसे फिर से जीवित कर दिया, जिसे सिधों द्वारा जला दिया गया था। बाबा अलमस्त जी ने गुरू साहिब से अनुरोध किया कि अगर भविष्य में इस तरह होता हैं तो वह क्या करेंगे। गुरू साहिब ने आशीर्वाद दिया और कहा कि वह (गुरू साहिब ) यहां हर 24 घंटे में एक बार (गुरुदवारा श्री किल्ला साहिब) जाएंगे और श्री गुरु नानक देव जी के स्थान की सुरक्षा करेंगे। इसके अलावा, गुरू साहिब ने वहां पर कुछ पैसे दबा दीये जो अभी भी उसी पेड़ के नीचे दफन है

गुरुद्वारा साहिब सितारगंज-नानकटाता रोड पर बाईं ओर स्थित, भिडौरा गाँव में स्थित है। सितारगंज से छह कि मी की दुरी पर स्थित है।

 
गुरुद्वारा साहिब, गुगल अर्थ के नकशे पर
 
 
  अधिक जानकारी :-
गुरुदवारा श्री किल्ला साहिब, भिडोरा

किसके साथ संबंधित है :-
  • श्री गुरु हरगोबिंद साहिब जी

  • पता :-
    सितारगंज खटीमा मार्ग
    जिला :- उध्म सिंह नगर
    राज्य :- उत्तराखंड
    फ़ोन नंबर :-
     

     
     
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